बिहार विधानसभा चुनाव में NDA (एनडीए) की प्रचंड जीत का उत्साह गुजरात तक पहुंच गया है। शुक्रवार को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जब अपने गृह राज्य गुजरात के दौरे पर सूरत एयरपोर्ट पहुंचे, तो वहां मौजूद प्रवासी बिहारियों ने उनका खांटी बिहारी लहजे और गमछा लहराकर गर्मजोशी से स्वागत किया।
अपने गृह राज्य में बिहार के लोगों का उत्साह देखकर पीएम मोदी भी गदगद हो गए। प्रवासी बिहारियों की इच्छा पर, पीएम मोदी ने अपने कार्यक्रम में बदलाव करते हुए एयरपोर्ट पर उनसे मुलाकात की।
"बिहार के लोग दुनिया को राजनीति सिखा सकते हैं"
प्रवासी बिहारियों को संबोधित करते हुए पीएम मोदी ने उनके महत्व को रेखांकित किया। उन्होंने कहा, "बिहार के लोग इतने माहिर हैं कि दुनिया को राजनीति सिखा सकते हैं। मैं बिहार वालों की ताकत को समझता हूं। उन्हें राजनीति समझाना नहीं पड़ता है, वे दुनिया को राजनीति समझाने की ताकत रखते हैं।"
पीएम ने कहा कि बिहार चुनाव के बाद, वहां के लोगों से मिले बिना उनकी यात्रा अधूरी रह जाती।
विपक्ष पर साधा निशाना
प्रधानमंत्री मोदी ने इस मौके पर कांग्रेस और आरजेडी पर भी जमकर निशाना साधा।
'आत्म निरीक्षण' की सलाह: उन्होंने कहा कि जो लोग पचास साल से राज कर रहे थे, उनका जो हाल हुआ है, वह आत्म निरीक्षण का विषय है।
हार का ठीकरा: पीएम ने विपक्षी दलों पर तंज कसते हुए कहा कि वे अपने सहयोगियों और पार्टी जनों को हार का कारण नहीं समझा पा रहे हैं, तो इलेक्शन कमीशन और ईवीएम पर ठीकरा फोड़ रहे हैं।
वक्फ कानून और अपमान: उन्होंने कहा कि वक्फ कानून को खत्म करने की बात करने वालों की भी छुट्टी कर दी गई। साथ ही, नीतीश कुमार को लगातार अपमानित करना फैशन बन गया था, जिसे बिहार की संवेदनशील जनता ने स्वीकार नहीं किया।
दलितों के समर्थन से मिली जीत
पीएम मोदी ने बिहार के चुनाव नतीजों को देश के लिए महत्वपूर्ण बताया और कहा कि इसका असर अन्य राज्यों में भी दिखेगा।
उन्होंने बताया कि समाज के सभी वर्ग के लोगों ने एनडीए को समर्थन दिया। उन्होंने विशेष रूप से दलित समुदाय के योगदान का जिक्र किया, जिनके बारे में कहा जाता था कि एनडीए दलितों की विरोधी है।
पीएम ने दावा किया कि दलित वोट प्रभाव वाले 34 सीटों पर एनडीए की जीत हुई है।
पीएम मोदी ने अंत में कहा कि "विजय हमारे लिए कुछ जिम्मेदारी लेकर आती है। इस मंत्र को लेकर हमे चलना है।"







